हाय रे कोचिंग

बेरोजगारों से चलता है
कुछ लोगों का रोजगार
लाखों नहीं करोड़ो में है
कोचिंग का व्यापार !
एसी है कूलर है
प्रोजेकटर भी लगे हैं
मुखर्जीनगर दिल्ली में
ढेरों  पोस्टर सजे हैं
आईएएस आईपीएस
सब बनने को तैयार
कोचिंग में जाते ही
बदल जाता है व्यवहार
कुछ बाबा कुछ नए
यहाँ लाखों पड़े हैं
लिव-इन-रिलेशन में
कुछ जीवन जी रहे हैं
बेदी त्रिपाठी राव का
खुब नाम है
एडमिशन में यहाँ
बड़ा मोलभाव है।
                          (७ /८ /२०१३  ,नई दिल्ली )              मुन्ना साह
                                                 शोध अध्येता ,दिल्ली विश्वविद्यालय, दिल्ली -७  

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