सद्भावना
सद्भावना सद्भावना सद्भावना
हर मानव के हृदय में हो प्रेम भावना
उज्ज्वल भविष्य और आशाओं के फूल खिले
हिन्दू मुस्लिम सिख ईसाई सब गले मिले
किसी से न हो द्वेष, रखे सब बंधुत्व भावना
सद्भावना सद्भावना सद्भावना
सात दिन सात रंग सात महादेश हैं
भिन्न-भिन्न भाषाएं वेष भूषाएं भी अनेक हैं
सात समुद्र पार से चाहें जो भी आए ना
मिलकर करते स्वागत हमारी यही भावना
सद्भावना सद्भावना सद्भावना !
हर मानव के हृदय में हो प्रेम भावना
उज्ज्वल भविष्य और आशाओं के फूल खिले
हिन्दू मुस्लिम सिख ईसाई सब गले मिले
किसी से न हो द्वेष, रखे सब बंधुत्व भावना
सद्भावना सद्भावना सद्भावना
सात दिन सात रंग सात महादेश हैं
भिन्न-भिन्न भाषाएं वेष भूषाएं भी अनेक हैं
सात समुद्र पार से चाहें जो भी आए ना
मिलकर करते स्वागत हमारी यही भावना
सद्भावना सद्भावना सद्भावना !
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